नई दिल्ली : 26 जनवरी को राजपथ पर होने वाले गणतंत्र दिवस परेड के दौरान दुनिया को भारत में बनी तो धनुष की झलक मिलेगी। यह पहला मौका है जब धनुष को सार्वजनिक तौर पर सामने लाया जाएगा। धनुष भारतीय सेना के लिए काफी अहम है क्योंकि भारतीय सेना के लिए आखिरी बार बोफोर्स को खरीदा गया था।
धनुष को जबलपुर की फील्डगन फैक्ट्री में तैयार किया गया है। दो जनवरी को दो धनुष तोपों को दिल्ली लाया गया है और 26 जनवरी की परेड में इन्हें शामिल किया जाएगा। स्वीडन से भारत ने 410 बोफोर्स तोपें खरीदी थीं और ये तोपें कारगिल की जंग में निर्णायक साबित हुयी थी।
वहीँ धनुष ने अब तक अपने सभी टेस्ट्स पास कर लिए हैं और जल्द ही इन्हें भारतीय सेना में शामिल किया जाएगा। फ़िलहाल छह धनुष तोपों का ट्रायल श्रीनगर के बेस्ट 15 कॉर्प्स और लद्दाख में 14 कॉर्प्स के तहत चल रहा है। अभी इन तोपों के प्रोडक्शन लेवल का प्रोटोटाइप टेस्ट किया जा रहा है। सूत्रों की मानें तो ट्रायल पर यह खरी उतर रही हैं जब कि 2015 में धनुष तोपों ने अपने सभी ट्रायल पास कर लिए थे।
दरअसल धनुष 155 X 45 एमएम कैलीबर वाली तोप है। जो 15 सेकेंड में तीन राउंड, तीन मिनटमें 15 राउंड और 60 मिनट में 60 राउंड्स फायर कर सकती है और इसकी अधिकतम रेंज 38 किमी है।