भारत के अपने दो दिवसीय दौरे पर आए ब्रिटिश प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने बृहस्पतिवार को महात्मा गांधी को ‘असाधारण व्यक्ति’ बताया, जिन्होंने दुनिया को बेहतर बनाने के लिए सत्य और अहिंसा के सिद्धांतों पर बल दिया.
जॉनसन साबरमती आश्रम का दौरा करने वाले ब्रिटेन के पहले प्रधानमंत्री बने. साबरमती आश्रम से महात्मा गांधी ने एक दशक से अधिक समय तक ब्रिटिश औपनिवेशिक शासन से स्वतंत्रता के लिए भारत के आंदोलन का नेतृत्व किया था.
जॉनसन ने गांधी आश्रम में आगंतुक-पुस्तिका में लिखा, ‘इस असाधारण व्यक्ति के आश्रम में आना और यह समझना कि उन्होंने दुनिया को बेहतर बनाने के लिए किस प्रकार सत्य और अहिंसा के सरल सिद्धांतों पर बल दिया, यह बहुत बड़ा सौभाग्य है.’
ब्रिटिश प्रधानमंत्री ने महात्मा गांधी की प्रशंसा की लेकिन स्वतंत्रता संग्राम के दौरान ब्रिटेन के शासक वर्ग से गांधी के लिए ऐसी प्रशंसा दुर्लभ थी.
अपनी यात्रा के दौरान, जॉनसन ‘हृदय कुंज’ गए जहां महात्मा गांधी रहते थे. ब्रिटिश प्रधानमंत्री ने चरखे पर सूत कातने की भी कोशिश की. उन्हें चरखे की प्रतिकृति भी भेंट की गई.
साबरमती आश्रम संरक्षण और स्मारक न्यास की ओर से जॉनसन को दो किताबें भेंट की गई हैं. इसमें एक ‘‘गाइड टू लंदन’’ है जो अप्रकाशित है और इसमें लंदन में कैसे रहा जाए, इसको लेकर महात्मा गांधी के सुझाव हैं। दूसरी किताब मीराबेन की आत्मकथा ‘‘ द स्प्रिट्स पिल्ग्रिम्ज’’ है.
जॉनसन का शुक्रवार को नयी दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलने का कार्यक्रम है.