समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) के अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) ने शुक्रवार को सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (BJP) पर अपराध नियंत्रण में विफल होने का आरोप लगाते हुए दावा किया कि भाजपा राज में बाल अपराध के नए कीर्तिमान रचे जा रहे हैं.
शुक्रवार को सपा मुख्यालय से जारी एक बयान में अखिलेश यादव ने आरोप लगाया कि भाजपा राज में बाल अपराध के नए कीर्तिमान रचे जा रहे हैं. उन्होंने दावा किया कि एक जनवरी 2022 से 30 अप्रैल 2022 तक चार जिलों में कुल 82 मासूम लापता हो गए, जिनमें 35 बच्चे और 47 बच्चियां शामिल हैं.
आंकड़े गिनाते हुए यादव ने कहा कि देवरिया में सात बच्चे व 16 बच्चियां लापता हैं जबकि गोरखपुर में 10 बच्चे व छह बच्चियां तथा कुशीनगर में 15 बच्चे और 16 बच्चियां गायब हैं. सपा प्रमुख ने कहा कि महाराजगंज में तीन बच्चे और 12 बच्चियां लापता हैं. उन्होंने दावा किया कि इस तरह कुल 82 बच्चे गायब हुए हैं, जिनमें से 79 का कोई सुराग नहीं लगा है.
सपा प्रमुख ने आरोप लगाया कि अपहरण के मामले भी समय से दर्ज नहीं हुए हैं और भाजपा सरकार हाथ पर हाथ धरे बैठी है.यादव ने कहा, “उत्तर प्रदेश में सत्ता के संरक्षण में अराजकता और अव्यवस्था को बढ़ावा मिल रहा है. भाजपा के नेता तो अहंकार में डूबे ही हैं और स्थानीय प्रशासन भी सत्तारूढ़ भाजपा के दबाव में असल गुनाहगारों को बचाने में लगा है.”
उन्होंने आरोप लगाया कि कन्नौज के सौरिख में भाजपा कार्यकर्ता ने एक दलित बालिका की बलात्कार के बाद हत्या कर दी. एक अन्य घटना का जिक्र करते हुए सपा नेता ने कहा कि झांसी में टोल प्लाजा पर भाजपा समर्थकों ने खूब हंगामा किया. उन्होंने कई और घटनाओं का जिक्र करते हुए कहा कि अब सबसे बड़ा सवाल यह है कि अपराधियों, भाजपाइयों और पुलिस की तिकड़ी जुगलबंदी से लोगों को और खासकर बहन-बेटियों को कैसे बचाया जाए?