प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि एमएसएमई (MSME) की परिभाषा तो बदली ही गई है, अब इसकी परिभाषा का दायरा भी बढ़ाया गया है. एमएसएमई में ये संशोधन 14 साल बाद हुए हैं. 20 हजार करोड़ रुपये के अधीनस्थ कर्ज के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई है. इसी के साथ 50 हजार करोड़ के इक्विटी निवेश को भी मंजूरी दी गई है. नितिन गडकरी (Nitin Gadkari) ने कहा कि एमएसएमई को लेकर दो फंड बनाए गए हैं. पहला डिस्ट्रेस एसेसमेंट फंड (Distress Assessment Fund) जिसमें 4 हजार करोड़ का प्रावधान है जबकि दूसरे को फंड ऑफ फंड्स (Fund of Funds ) कहा गया है जो 50 हजार करोड़ रुपये का है. इन दोनों शेयरों को बहुत जल्द शेयर मार्केट (Stock Market) में सूचीबद्ध (List) किया जाएगा. नितिन गडकरी ने कहा कि एमएसएमई अभी कठिन दौर से गुजर रहा है. देश में 6 करोड़ एमएसएमई हैं जिनमें 11 करोड़ से ज्यादा लोगों को नौकरी मिली है. उन्होंने कहा, एमएसएमई की मजबूती से निर्यात बढ़ेगा. 25 लाख एमएसएमई के पुनर्गठन की उम्मीद है. मजबूत एमएसएई के 15 फीसदी इक्विटी खरीदने की योजना है. कमजोर उद्योगों को उबारने के लिए 4 हजार करोड़ का फंड दिया गया है. गडकरी ने कहा कि एमएसएमई के लिए ऐतिहासिक फैसले लिए गए हैं. एमएसएमई से 6 करोड़ छोटे कारोबारी जुड़े हैं, जिन्हें इस योजना से बड़ा लाभ मिलेगा. 2 लाख एमएसएमई नए फंड से फिर शुरू हो जाएंगे.PM Street Vendor’s AtmaNirbhar Nidhi (PM SVANidhi) is a very special scheme. For the first time, our street vendors are a part of a livelihood programme. This scheme will ensure support for street vendors. It harnesses technology and emphasises on capacity building.
— Narendra Modi (@narendramodi) June 1, 2020